अब नहीं हो पाएगी भर्ती परीक्षाओं में धांधली, देखिए सीएम धामी का ‘इलेक्शन मोड’ प्लान

देहरादून: उत्तराखंड में पिछले सालों हुई UKSSSC द्वारा कराई जाने वाली भर्ती परीक्षाओं में धांधली की पुष्टि हुई।कई आरोपी सलाखों के पीछे भेजे गए। UKSSSC स्नातक स्तरीय भर्ती परीक्षा का पेपर लीक हुआ और युवाओं के भविष्य के साथ खिलवाड़ हुआ लेकिन अब सीएम पुष्कर सिंह धामी ने युवाओं के भविष्य और भर्तियों के भ्रष्टाचार को ख़त्म करने के लिए इलेक्शन प्लान तैयार कर लिया है। लिहाजा अब समूह ग की नकल रहित पारदर्शी और निष्पक्ष परीक्षा कराने को लेकर सीएम फूल प्रूफ़ प्लान लेकर सामने आए हैं।

दरअसल, उत्तराखंड में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की अध्यक्षता में आयोजित कैबिनेट बैठक में विभिन्न विभागों में समूह ग की पारदर्शिता के साथ परीक्षा आयोजित कराए जाने के लिए उत्तराखंड लोक सेवा आयोग को जिम्मेदारी सौंपी गई थी। इसी क्रम में उत्तराखंड लोक सेवा आयोग ने पारदर्शी तरीके से परीक्षाओं के आयोजन हेतु फ़ुल प्रूफ़ प्लान तैयार कर दिया है। आयोग द्वारा परीक्षाओं को निर्वाचन कार्य की भांति सम्पन्न कराए जाने का प्रस्ताव शासन को भेज दिया गया है। आयोग के 13 सितम्बर के पत्र पर मुख्य सचिव एस०एस०संधू ने तत्काल कार्यवाही करते हुए उन पर स्वीकृतियाँ भी जारी कर दी तथा अन्य बिंदुओं के सम्बंध में तत्काल कार्यवाही हेतु सचिव कार्मिक को निर्देशित किया।

शासन द्वारा आयोग को आवश्यकतानुसार संसाधन मुहैया कराए जा रहे हैं और आयोग के समस्त प्रस्तावों पर मंथन और निर्णय लेने का कार्य भी शुरू हो गया है। कार्मिक विभाग इस सम्बंध में त्वरित कार्यवाही कर रहा है।

इधर उत्तराखण्ड लोक सेवा आयोग द्वारा शासन को भेजे गए प्रस्ताव को जल्द मंज़ूरी मिलने की उम्मीद है। यह इसलिए भी क्योंकि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी यह पहले ही स्पष्ट कर चुके हैं कि प्रदेश के युवाओं के भविष्य के साथ खिलवाड़ नहीं होने दिया जाएगा और परीक्षा को पारदर्शी तरीक़े से आयोजन करने के लिए आयोग की हर सम्भव मदद की जाएगी।

उत्तराखण्ड लोक सेवा आयोग के अध्यक्ष डॉ. राकेश कुमार की ओर से शासन को भेजे गए प्रस्ताव में कई बिंदु शामिल किए गए हैं। आयोग द्वारा शासन को भेजे प्रस्ताव में कहा है कि परीक्षा आयोजन हेतु पर्याप्त परीक्षा केन्द्रों की समय रहते उपलब्धता हेतु जिलाधिकारियों द्वारा ज़िलों के सम्बन्धित जिला शिक्षा अधिकारी को निर्देशित कर अभ्यर्थियों हेतु पर्याप्त फर्नीचर, बिजली, पेयजल, आवागमन की सुविधा वाले स्कूल चिन्हित कर दिए जाएँ।

प्रस्ताव में यह भी कहा गया है कि परीक्षा आयोजन ज़िला स्तर पर जिलाधिकारी की देखरेख किया जाए और आयोग के सहयोग के लिए हर ज़िले से एडीएम स्तर से ऊपर के अधिकारी को नोडल अधिकारी नामित किया जाए।

आयोग ने तहसील / नगर स्तर पर परीक्षा संचालन के पर्यवेक्षण / समन्वयन हेतु एसडीएम स्तर के जोनल मजिस्ट्रेट के तौर पर नामित किया जाए। इसके अतिरिक्त परीक्षा केन्द्र पर सैक्टर मजिस्ट्रेट भी तैनात किये जाएं व पुलिस बल भी तैनात किया जाए। परीक्षा के सुव्यवस्थित ढंग से संचालन हेतु परीक्षा केन्द्रों के प्रधानाचार्य / केन्द्र प्रभारी को मजिस्ट्रेट के अधिकार प्रदत्त किये जाएं तथा परीक्षा केन्द्र पर प्रशासन का एक अधिकारी तहसीलदार स्तर के नामित किया जाए।

परीक्षा केन्द्र से 200 मीटर धारा 144 के लगाई जाए व जनपदीय कोषागार से गोपनीय सामग्री विभिन्न परीक्षा केन्द्रों तक पहुँचाने एवं परीक्षा के उपरान्त गोपनीय सामग्री से सम्बन्धित सील्ड पैकेट्स आदि सम्बन्धित नगर के पोस्ट आफिस अथवा निर्धारित गन्तव्य तक सुरक्षित पहुँचाने हेतु सैक्टर मजिस्ट्रेट नामित किये जाएँ।

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